Fake Marriage Bureau exposed: प्रयागराज में पांच युवतियां और तीन शातिर गिरफ्तार
आईजी प्रयागराज ने किया खुलासा, आनलाइन फर्जी मैरिज ब्यूरो का खुलासा
प्रयागराज (आलोक गुप्ता). पहले रिश्ता गांव के पंडित या फिर नाई तय ही तय करवाते थे। क्योंकि यही ऐसे दो लोग हुआ करते थे, जिनका हर वर्ग के घरों में आना जाना होता था और इनके द्वारा जोड़े गए रिश्ते जन्म-जन्मांतर तक चलते थे। जब से परिवार एकाकी हुए,जीवन पर आधुनिकता का रंग चढ़ा, तब से मैरिज ब्यूरो की बाढ़ आ गई। सबकुछ आनलाइन उपलब्ध हो गया। इसी की आड़ में कुछ जालसाजों ने फर्जी शादी के जरिए ठगी का काम शुरू कर दिया।
प्रयागराज में आईजी राकेश सिंह ने इसी तरह के एक फर्जी मैट्रीमोनियल ब्यूरो का खुलासा किया है। पुलिस ने पांच लड़कियों और तीन ठगों को गिरफ्तार किया है। इसका नेटवर्क पूरे देश में फैला था। यह गिरोह शादी का झांसा देकर आनलाइन रुपया ट्रांसफर करवाता था, इसके बाद नंबर ब्लाक कर देता था।
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साइबर क्राइम सेल के जरिए पुलिस ने यह खुलासा किया तो लोगों के कान खड़े हो गए। साइबर थाना पुलिस ने राजापुर से कुल आठ लोगों को गिरफ्तार किया गया है। यह गिरफ्तारी मेरठ से की गई शिकायत के बाद हुई जांच में की गई है। मेरठ निवासी एक व्यक्ति ने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई थी कि शादी तय कराने का झांसा देकर उससे रकम ले ली गई। अब उसे धमकाया जा रहा है। जिस खाते में उसने रुपया ट्रांसफर किया था, वह प्रयागराज का था।
आईजी राकेश सिंह ने बताया कि पांच युवतियों के साथ छत्तीसगढ़ के ऋतिक कुमार, देवेंद्र कुमार, यानेंद्र कुमार को गिरफ्तार किया गया है। इनके कब्जे से दो सीपीयू, मानीटर, की-बोर्ड, माउस, विभिन्न प्रकार के 30 रजिस्टर, फर्जी आधार कार्ड की डुप्लीकेट कापी, सात एटीएम कार्ड, बैंक पासबुक आदि बरामद हुई है। धरा गया ऋतिक गैंग का सरगना है।
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रॉयल, मेरी पार्टनर, पवित्र रिश्ता जैसी वेबसाइट से करते थे ठगीः पूछताछ में पता चला कि इस गिरोह ने रॉयल, मेरी पार्टनर और पवित्र रिश्ता जैसे फर्जी मैट्रिमोनियल वेबसाइट बनाई और दो माह पहले ही राजापुर में एक कालसेंटर खोला। यहां पर राजापुर, अशोकनगर और मुट्ठीगंज की पांच लड़कियों को नौकरी पर रखा। इन लड़कियोंको तनख्वाह के साथ-साथ कमीशन भी दी जाती थी। मेरठ के व्यक्ति द्वारा की गई शिकायत पर साइबर थाना प्रभारी राजीव तिवारी ने उक्तमामले कीजांच की और शातिरों को गिरफ्तार किया। बताते चलें कि दो वर्ष पहले भी इसी तरह के एक फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ था।