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बेटे के जनाजे में शामिल नहीं हो पाया अतीकः असद और शूटर गुलाम का शव सुपुर्द-ए-खाक

प्रयागराज (आलोक गुप्ता). झांसी में हुई मुठभेड़ में यूपीएसटीएफ की गोली का शिकार हुए माफिया अतीक अहमद (Atiq) के बेटे असद (Asad) और शूटर गुलाम (shooter Ghulam) के शव का इस्लामिक रीति-रिवाज से सुपुर्द-ए-खाक (funeral) कर दिया गया। असद का शव कसारी-मसारी में स्थित कब्रिस्तान में दफनाया गया तो वहीं गुलाम का शव मेंहदौरी के कब्रिस्तान में दफन किया गया। दूसरी तरफ लाख कोशिशों के बावजूद अतीक अहमद और उसकी पत्नी शाइस्ता परवीन बेटे के जनाजे में शामिल नहीं हो पाईं। अतीक अहमद ने बेटे के जनाजे में शामिल होने के लिए कोर्ट में अर्जी डाली थी, लेकिन सुनवाई होने से पहले ही असद को सुपुर्द-ए-खाक कर दिया गया। असद को उसके दादा-दादी की कब्र के पास दफन किया गया है।

इस दौरान सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए गए थे। कड़ी सुरक्षा के बीच असद की जनाजे में नाना और मौसा समेत तीन दर्जन करीबी रिश्तेदार शामिल हुए। Prayagraj के अपर आयुक्त आकाश कुलहरी के नेतृत्व में भारी पुलिस बल तैनात रहा। कब्रिस्तान के बाहर पुलिस ने बैरियर लगा रखा था। बैरियर के आगे मीडिया को भी जाने की इजाजत नहीं दी गई। आसपास के लोगों को भी घरों में रहने की हिदायत दी गई थी।  इसके अलावा आसपास के मकान की छतों पर सुरक्षा कर्मी तैनात थे और ड्रोन से निगरानी की जा रही थी।

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बेटे असद के जनाजे में फरारी काट रही मां शाइस्ता परवीन के शामिल होने की आशंकाओं के बीच कड़े सुरक्षा इंतजामात किए गए थे। कब्रिस्तान के अंदर पुलिस ने रजिस्टर रखा था। उसमें आईडी सहित नाम लिखकर ही लोगों को अंदर जाने दिया गया।

उल्लेखनीय है पुलिस मुठभेड़ में मारे गए असद की मां शाइस्ता परवीन फरार है और उसके ऊपर 50 हजार का इनाम है। बेटे के मोह में उसके सरेंडर करने की चर्चा जोरों पर थी। मौजूदा समय में अतीक के दो बेटे बाल सुधार गृह में और दो भाई जेल में है। जबकि पत्नी शाइस्ता सहित अन्य नजदीकी परिवारी जन फरार हैं।

दूसरी तरफ शूटर गुलाम के शव को मेंहदौरी के कब्रिस्तान में दफन किया गया है। इस दौरान गुलाम की पत्नी सना और पिता मौजूद रहे। जबकि भाई राहिल और मां ने जनाजे में हिस्सा नहीं लिया। दोनों स्थानों पर ड्रोन से निगरानी के अलावा कब्रिस्तान के आधा किलोमीटर के दायरे में चप्पे-चप्पे पर पुलिस तैनात की गई थी।

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