कई मोहल्लों में इंटरलाकिंग और नाली पर हुआ काम, वार्ड पांच और 13 में हैवी सबमर्शिबल पंप की स्थापना
भदोही (राजकुमार सरोज). कार्यकाल का एक वर्ष पूरा करने पर नगर पंचायत सुरियावां के चेयरमैन ने सोमवार को सुंदरकांड के पाठ के साथ दिन की शुरुआत की। चुनाव के समय उन्होंने कस्बावासियों से किए गए वादे को पूरा करने की गारंटी भी ली। चेयरमैन विनय चौरसिया ने कहा, सुरियावां कस्बे के प्रत्येक मोहल्ले की समस्याओं को जांचा-परखा जा रहा है और उसी के अनुरूप उन्हे विकास कार्यों से आच्छादित किया जा रहा है।
सालभर में करवाए गए विकास कार्यों को गिनवाते हुए चेयरमैन ने बताया कि कस्बे की प्रमुख समस्याओं में सड़क और जलनिकासी की समस्या रही। इसके लिए वार्ड संख्या दो मलेपुर में इंटरलाकिंग के साथ जलनिकासी के लिए नाली बनवाई गई। यह इंटरलाकिंग बाईपास तक बनवाई गई है, ताकि बरसात में लोगों को दिक्कत न हो।
इसी तरह वार्ड संख्या तीन में इंटरलाकिंग का कार्य बाईपास से जोधराज तालाब तक करवाया गया। जबकि वार्ड चार में बैंक गली से लेकर बाजार तक इटरलाकिंग के साथ-साथ नाली बनवाई गई। इसी तरह वार्ड संख्या दस में चौक से लेकर रेलवे फाटक तक इंटर लाकिंग का कार्य पूर्ण करवाया गया है। जो अवशेष कार्य हैं, उन पर कार्य किए जा रहे हैं।
कस्बे के विकास कीसंपूर्ण कार्ययोजना तैयार है। सभी पर कार्य़ हो रहा है। चेयरमैन नेबताया कि कस्बे की गल्लामंडी में जलभराव की समस्या प्रमुख थी। यहां मामूली बरसात में हीपानी लग जाता था। इससे निजात दिलाने के लिए अलग से पाइपलाइन बिछा दी गई, ताकि पहले की तरह अब लोगों को जलभराव का सामना न करना पड़े। गल्लामंडी में इस प्रकार जलनिकासी की व्यवस्था की गई है कि अब पानी रुकने की कोई गुंजाइस नहीं है।
नगर पंचायत सुरियावां को मिला शव वाहन
इसके अलावा नगर पंचायत को शव वाहन, एसी मंजूसा उपलब्ध कराया गया। वार्ड संख्या 13 और पांच पानी की समस्या थी, जिसके लिए दोनों स्थानों पर हैवी ड्यूटी के सबमर्शिबल पंप की स्थापना की गई। कस्बे के सभी तीनों प्राइमरी स्कूलों में कायाकल्प के तहत कक्षाओं में टाइल्स लगवाई गई। सुंदरीकरण करवाया गया। दिव्यांग शौचालय बनवाए गए।
चेयरमैन ने बताया कि आचार संहिता लगने के कारण नये कार्य शुरू नहीं हो पाए। अब आचार संहिता खत्म होते ही नये कार्यों को शुरू किया जाएगा। कई जगह पर अभी इंटरलाकिंग और जलनिकासी का कार्य शेष है। वार्ड संख्या नौ समेत दो-तीन स्थानोंपर इस तरह का कार्य़ अभी शेष है।
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