मध्य प्रदेश के 21 जिलों से गुजरती है नर्मदा, 430 प्राचीन व दो शक्तिपीठ विद्यमान
The live ink desk. मध्य प्रदेश में नर्मदा नदी के किनारे बसे धार्मिक नगरों में मांस-मदिरा बेचने पर प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है। मध्य प्रदेश की सरकार ने इस फैसले में नर्मदा नदी के किनारे बसे धार्मिक नगरों और स्थलों को शामिल किया है। फैसले का मुख्य उद्देश्य नर्मदा नदी को साफ-सुथरा और पावन बनाए रखना है।
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई इस बैठक में इस फैसले को अमली जामा पहनाया गया। मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा है कि यह सुनिश्चित किया जाए की अमरकंटक, जो कि नर्मदा नदी का उद्गम स्थल है, से लेकर प्रदेश की सीमा में जहां भी नर्मदा नदी बह रही है, वहां पर सीवेज इसमें न मिले।
मुख्यमंत्री डा. यादव ने कहा कि नर्मदा नदी के दोनों ओर विद्यमान जनजातीय बाहुल क्षेत्र में साल और सागौन के पौधरोपण के साथ जड़ी-बूटियों की खेती को प्रोत्साहित किया जाए। समृद्ध बॉयोडायवर्सिटी के संरक्षण व प्रोत्साहन गतिविधियों में वनस्पति शास्त्र और प्राणी शास्त्र के विशेषज्ञों को जोड़ते हुए गतिविधियां संचालित की जाएं। इसके साथ ही नदी के दोनों ओर पांच किलोमीटर तक प्राकृतिक खेती को प्रोत्साहित किया जाए, इससे कीटनाशक व अन्य रसायनों के नर्मदा में जाने से रोकने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि नर्मदा क्षेत्र में भू-गर्भ की दृष्टि से महत्वपूर्ण स्थानों का भी संरक्षण किया जाए।
एमपी में 1312 किमी है नर्मदा की लंबाई
गौरतलब है कि मांस-मदिरा पर प्रतिबंध का असर मध्य प्रदेश के 21 जिलों पर पड़ेगा। बैठक में जानकारी दी गई कि अमरकंटक से आंरभ होकर खंभात की खाड़ी में मिलने वाली 1312 किलोमीटर लंबी नर्मदा नदी की मध्यप्रदेश में लंबाई 1079 किलोमीटर है। नर्मदा के किनारे 21 जिले, 68 तहसीलें, 1138 ग्राम और 1126 घाट हैं।
430 प्राचीन मंदिर और दो शक्तिपीठ मौजूद
इसके अलावा नर्मदा के तट पर 430 प्राचीन शिव मंदिर और दो शक्तिपीठ विद्यमान है, साथ ही कई स्थान और घाटों के प्रति जनसामान्य में पर्याप्त आस्था और मान्यता है। बैठक में मंत्री और अधिकारियों द्वारा भी सुझाव प्रस्तुत किए गए।
नर्मदा की परिक्रमा के लिए बन रहा पथमार्ग
आम लोगों की आस्था नर्मदा नदी को लेकर बहुत ज्यादा है, क्योंकि नर्मदा नदी का सनातन धर्म में ऐतिहासिक, धार्मिक महत्व बहुत ज्यादा है। सनातन धर्म के अनुसार नर्मदा नदी एकमात्र नदी है, जिसकी परिक्रमा की जाती है। इसलिए परिक्रमा करने वालों की सुविधा के लिए परिक्रमा पथ का निर्माण भी प्रदेश सरकार करवा रही है।
नजर रखने के लिए सैटेलाइट व ड्रोन का प्रयोग
फिलहाल, मध्य प्रदेश में नर्मदा नदी के संरक्षण के लिए मुख्यमंत्री मोहन यादव द्वारा यह पहली बैठक थी। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने नदी के पर्यावरण संरक्षण के लिए नर्मदा नदी के आसपास होने वाली गतिविधियों पर नजर रखने के लिए सैटेलाइट इमेज और ड्रोन का इस्तेमाल करने का आदेश दिया है। नर्मदा नदी के लिए मुख्यमंत्री मोहन यादव द्वारा उठाया गया यह महत्वपूर्ण कदम बताया जा रहा है।