अवध

गाय, गायत्री मंत्र और गीता को अपनाने पर मिलेगी मुक्तिः लक्ष्मीनारायण

मिश्रपुर में आयोजित भागवत कथा सुनने पहुंचे आईपीएस राजेश प्रताप सिंह और आनंदप्रकाश तिवारी

प्रयागराज (राहुल सिंह). आज के समय में धनवान व्यक्ति वही है, जो तन, मन, धन से सेवा रूपी भक्ति करे। परमात्मा की प्राप्ति सच्चे प्रेम के द्वारा ही संभव है। कोरांव के मिश्रपुर गांव में आयोजित श्रीमद भागवत कथा के पांचवें दिन श्रीकृष्ण की बाल लीलाओं का वर्णन करते हुए कथा व्यास लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने पूतना चरित्र का वर्णन करते हुए बताया कि पूतना राक्षसी ने बालकृष्ण को उठा लिया और स्तनपान कराने लगी।

श्रीकृष्ण ने स्तनपान करते-करते ही पूतना का वध कर उसका कल्याण किया। माता यशोदा जब भगवान श्रीकृष्ण को पूतना के वक्षस्थल से उठाकर लाती हैं, उसके बाद पंचगव्य (गाय के गोबर, गोमूत्र आदि) से भगवान को स्नान कराती है। कहा, सभी को गो माता की सेवा, गायत्री का जाप और गीता का पाठ अवश्य करना चाहिए। गाय की सेवा से सभी देवी-देवताओं की सेवा हो जाती है।

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कथा आयोजक अमरेंद्र मिश्र (पिंटू) मिश्रपुर के यहां आयोजित श्रीमद्भागवत कथा में श्रीकृष्ण लीला को आगे बढ़ाते हुए कथावाचक ने बताया कि पृथ्वी ने गाय का रूप धारण कर श्रीकृष्ण को पुकारा तब श्रीकृष्ण पृथ्वी पर आए हैं। इसलिए वह मिट्टी में नहाते, खेलते और खाते हैं, ताकि पृथ्वी का उद्धार कर सकें। बाल लीला के दौरान गोपबालकों ने जाकर यशोदामाता से शिकायत कर दी।

इस पर यशोदा दौड़ी-दौड़ी कृष्ण के पास पहुंची और मुंह खुलवाया तो  अंदर पूरा ब्रह्मांड नजर आया। बालक स्वरूप श्रीकृष्ण का यह स्वरूप देख यशोदा माता ने उनका असली रूप पहचान लिया। इस पर श्रीकृष्ण ने यह सोचा कि यदि मेरा यह रूप मां ने किसी को बता दिया तो मेरी बाल लीला खत्म हो जाएगी। इस पर श्रीकृष्ण ने मां यशोदा को वह घटना विस्मृत करा दी।

कथा व्यास लक्ष्मी नारायण त्रिपाठी ने बताया कि आज-कल की युवा पीढ़ी अपने धर्म, अपने भगवान को नहीं मानती है, लेकिन आप सभी अपना धर्म पहचानों। धर्म को जानने के लिए गीता, भागवत, रामायण पढ़ो, ऐसा करने से आने वाली पीढ़ी भी संस्कारी हो जाएगी। आगे की कथा में कथावाचक लक्ष्मीनारायण त्रिपाठी ने विभिन्न प्रसंगों का वर्णन कर सभी श्रद्धालुओं को भक्तिभाव से भर दिया। कथा सुनने वालों में वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी राजेश प्रताप सिंह, संयुक्त पुलिस आयुक्त कानपुर आनंद प्रकाश तिवारी, प्रमोद मिश्र पयासी, विमलेश मिश्र, सुशील, विपिन, जय प्रकाश समेत भारी संख्या में भक्तगण मौजूद रहे।

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