अवध

गजब की अंधेरगर्दीः मरहम-पट्टी करने वाले चला रहे अस्पताल, इलाज के नाम पर खून चूसने वाली दुकानें सील

प्रयागराज (आलोक गुप्ता). स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही और मनमानी का फायदा गांव-गिरांव में मरहम-पट्टी करने वाले खूब उठा रहे हैं, कोई प्रिंस हास्पिटल चला रहा है तो कोई प्रियंका नर्सिंग होम। रविवार (27 अगस्त, 2023) को गंगापार में स्थित प्रिंस हास्पिटल में गर्भवती की मौत के बाद सीएमओ नेएक टीम गठित की। इस टीम ने फिलहाल के लिए प्रिंस हास्पिटल पर सरकारी ताला लगा दिया है। इसी तरह प्रियंका नर्सिंग होम में गर्भवती का पेट फाड़कर प्रसव करवाया गया था। वहां भी कोई चिकित्सक या इमरजेंसी सेवा का स्टाफ मौजूद नहीं मिला। इस पर प्रियंका नर्सिंग होम को भी सील कर दिया गया है।

सीएमओ डा. आशु पांडेय ने बताया कि निजी अस्पताल में गर्भवती की मौत के बाद एक टीम का गठन किया गया है, जिसमें डा. तीरथलाल के अलावा अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डा. आरसी पांडेय, जिला स्वास्थ्य एवं सूचना अधिकारी राकेश कुमार जायसवाल, सीएचसी सोरांव के अधीक्षक डा. संतोष पांडेय को शामिल किया गया है। इस टीम ने सोमवार को सोरांव में स्थित प्रिंस हास्पिटल का दौरा किया, जहां पर जांच-पड़ताल के बाद उसे सील कर दिया गया।

बताते चलें कि प्रिंस हास्पिटल में 27 अगस्त कोप्रसव पीड़ा होने पर राधा देवी पत्नी राजेश कुमार (सघनगंज) को भर्ती करवाया गया था। आरोपित है कि गलत इलाज से गर्भवती राधा की मौत हो गई। जांच के दौरान इस मामले में संलिप्त आशा कार्यकत्री नगमा की भूमिका सामने आई। नगमा को नौकरी से निकाले जाने का आदेश देने के साथ-साथ हास्पिटल के खिलाफ कार्यवाही शुरू की गई है।

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जांच के दौरान ही पता चला कि सोरांव क्षेत्र के शिवगढ़ बाजार में प्रियंका नर्सिंग होम का संचालन एक आशा कार्यकत्री की बेटी के द्वारा किया जा रहा है। नर्सिंग होम के स्थलीय निरीक्षण में तीन महिलाएं एडमिट पाई गईं, जिसमें एक का सिजेरियन और दो का सामान्य प्रसव करवाया गया था, लेकिन मौके पर कोई भी चिकित्सक और पैरामेडिकल स्टाफ नहीं मिला। इस पर उक्त नर्सिंग होम को सील कर दिया गया। इसके अलावा पंजीकरण को रद्द करने की संस्तुति की गई है।

सीएमओ डा. आशु पांडेय ने बताया कि जिले में इस तरह से चलाए जाने वाले सभी नर्सिंग होम और अस्पतालों की जांच का आदेश दिया गया है, जहां पर पैनल में लगे डाक्टरों के स्थान पर कोई दूसरा स्टाफ काम कर रहा है।

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