प्रयागराज (आलोक गुप्ता). गर्मी कहर ढा रही है। दिन चढ़ते ही शरीर पसीने से तरबतर होजाता है। एक तरफ पंखे की हवा से शरीर सूखता रहता है तो दूसरी तरफ सेपसीना निकलता रहता है। मंगलवार को पूर्वाह्न जैसे-जैसे दिन चढ़ा सड़कों पर सन्नाटा पसरने लगा और दोपहर होने तक अधिकतर सड़कें खाली हो गईं।
गर्मी का कहर इस तरह कुछ ऐसा है कि टंकी में रखा पानी भी उबाल मारने लगा है। जनपद में सुबह के वक्त 44 डिग्री पारा रहा। इसके बाद दिन चढ़ने के साथ इसमें भी उछाल देखा गया और तीन बजे तक पूरे चरम पर दिखा। घर से बाहर कदम रखने पर ऐसा लगा, जैसे शरीर में आग लग गई। खासतौर से जनपद के यमुनापार का वह एरिया, जो पहाड़ों केइर्द-गिर्द आबाद है।
शंकरगढ़ क्षेत्र में हीटवेव और लू से लोग बेहाल दिखे। शंकरगढ़ थाना क्षेत्र के बड़गड़ी गांव के पुजारी बाबा भोलेनाथ दोपहर के वक्त लू की चपेट में आ गए। जानकारी होने पर उन्हे इलाज के लिए शंकरगढ़ लाया गया। इलाज से कुछ आरान हुआ तो परिजन लेकर घर चले गए। शाम सात बजे उनकी तबियत फिर से खराब हो गई और उन्हे बचाया नहीं जा सका।
इसी तरह का मामला शंकरगढ़ थाना क्षेत्र के जनवा में देखने को मिला। जनवा गांव के रहने वाले छेदीलाल आदिवासी भी लू की चपेट में आकर काल कवलित हो गए। इसके अलावा कई अन्य लोगों के बीमार होने की खबर है। सीएचसी शंकरगढ़ के साथ आसपास स्थित निजी अस्पतालों में भी चक्कर, उलझन, सिरदर्द के दर्जनों मरीज इलाज के लिए आए। लू से होने वाली दोनों मौतों की जानकारी स्थानीय राजस्व कर्मियों को दे दी गई है। आपदा राहत कोष से लू से होने वाली प्रत्येक मौतों पर चार लाख रुपये दिए जाने का प्रावधान है।
जेठ के माह में पड़ रही गर्मी से पूरा प्रदेश गर्मी से उबल रहा है। खासतौर से उत्तर प्रदेश का दक्षिण-पश्चिम एरिया वाले जिलों में हीटवेव चरम पर है। झांसी में तापमान 48.1 तक पहुंच गया है, जबकि आगरा और कानपुर में पारा 48 डिग्री के रिकार्ड को छू गया है। मथुरा-वृंदावन में 47, बागपत में 46, चित्रकूट में 45, इटावा में 45, गाजियाबाद व सुल्तानपुर में 46 तापमान दर्ज किया गया।
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