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फाफामऊ में 2.71 मीटर, सीतामढ़ी में 91 सेमी बढ़ा जलस्तर, निचले इलाके डूबे

यमुना का जलस्तर हुआ स्थिर तो फाफामऊ में बढ़ने लगा पानी, जलस्तर बढ़ने से कछार और निचले इलाके की रिहायशी बस्तियों में घुसा पानी

प्रयागराज/भदोही. गंगा और यमुना के जलस्तर में पिछले तीन दिनों से लगातार बढ़त जारी है। पहले दिन यमुना का पानी 12 सेमी प्रतिघंटे की स्पीड से बढ़ रहा था तो दूसरे दिन यह रफ्तार नौ सेमी प्रति घंटे पर आ गई थी। आठ अगस्त को यहां (नैनी) का बढ़ता जलस्तर थम गया तो दूसरी तरफ फाफामऊ में गंगा का जलस्तर बढ़ने लगा।

फाफामऊ में पिछले दो दिन से जहां जलस्तर स्थिर बना हुआ था, वहीं बीते 24 घंटे के दौरान फाफामऊ में 2.71 मीटर (सुबह आठ बजे तक) बढ़ा। जबकि समीपवर्ती जनपद भदोही में सीतामढ़ी में भी गंगा के तराई इलाके जलमग्न होगए हैं। यहां भी गंगा का पानी धीरे-धीरे ऊपर चढ़ रहा है। बीते 24 घंटे के दरम्यान यहां पर 91 सेंटीमीटर (लगभग एक मीटर) की बढ़त रिकार्ड की गई।

प्रयागराज जनपद के फाफामऊ घाट (गंगा) पर सुबह आठ बजे 81.33 मीटर जल रिकार्ड किया गया, जबकि दोपहर 12 बजे तक यह बढ़कर 81.61 मीटर पर पहुंच गया था। मतलब चार घंटे में 28 सेंटीमीटर पानी बढ़ा है। सात अगस्त की सुबह फाफामऊ में गंगा का जलस्तर 78.62 मीटर (खतरे का निशान 84.734) था।

प्रयागराज के छतनाग में जलस्तर 81.56 मीटर (स्थिर) है। जबकि  यमुना (नैनी) का जलस्तर 82.08 मीटर रिकार्ड किया गया। यहां बीते चार घंटे के दौरान थोड़ा गिरावट दर्ज की गई है।

इसी तरह पड़ोसी जनपद भदोही में गंगा का जलस्तर लगातार बढ़त बनाए हुए है। सीतामढ़ी गंगा घाट पर गुरुवार सुबह आठ बजे 77.23 मीटर जल रिकार्ड किया गया। यहां पर चेतावनीका निशान 80.20 मीटर पर तो खतरे का लाल निशान 81.20 मीटर पर है। भदोही में सात अगस्त की सुबह आठ बजे 76.32 मीटर दर्ज किया गया था। भदोही में दो दिन के अंतराल में 65 मिमी से अधिक वर्षा भी हुई है।

बुधवार को सुबह लगभग सात बजे गंगा का पानी बंधवा हनुमान मंदिर में प्रवेश करगया था। इसी के साथ शहरी क्षेत्र के निचले इलाकों तक पानी ने आमद दर्ज करा दी थी। फाफामऊ मेंलगातार बढ़ते जलस्तर के कारण फाफामऊ, झूंसी के कछार पूरी तरह जलमग्न हो गए हैं। गंगा के किनारे निचलेएरिया में भी पानी ने दस्तक दे दी है।

कमोवेश यही स्थिति यमुना के निचले इलाके में आबाद क्षेत्रों की है। यमुना व सहयोगी नदी में आई बाढ़ के पानी से करेली क्षेत्र में 1000 से अधिक मकान पानी से घिर गए हैं। गलियों में घुटने से अधिक पानी भर गया है। लोगों ने पहली मंजिल छोड़कर दूसरी मंजिल पर ठिकाना बना लिया है। शहर में बाढ़ के मद्देनजर जिला प्रशासन ने राहत-बचाव कार्य शुरू कर दिया है।

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